हरियाणा: शासन विरोधी भावना में फंसी भाजपा, BJP stuck in anti-incumbency in Haryana

September 19, 2024 Chander Mohan 0

हरियाणा और जम्मू कश्मीर के चुनावों, और उनके बाद होने वाले महाराष्ट्र, झारखंड और दिल्ली के चुनावों का राष्ट्रीय राजनीति पर असर पड़ेगा। यह बताएंगे कि हवा किस तरफ़ बह रही है। वैसे तो महाराष्ट्र के चुनाव भी साथ होने चाहिए थे पर चुनाव आयोग ने किन्ही कारणों से इन्हें साथ करवाने से इंकार कर दिया। यह दिलचस्प है कि सरकार देश में एक साथ चुनाव करवाने की बात करती है। प्रधानमंत्री कई बार ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ की बात कर चुकें है पर जिस चुनाव आयोग से तीन प्रदेशों के चुनाव इकट्ठे नहीं करवाए जासकते वह सारे देश में कैसे एक साथ चुनाव करवाऐंगे ? भाजपा के लिए बेहतर होता कि महाराष्ट्र के चुनाव भी साथ करवा लिए जाते […]

यह राजनीति है, धर्म नीति नहीं, Its Politics, Not Religion

April 4, 2024 Chander Mohan 0

पुरानी बात है। इंदिरा गांधी की एमरजैंसी का सारा वक़्त समर्थन करने के बाद 1977 में वरिष्ठ मंत्री बाबू जगजीवन राम कांग्रेस को छोड़ कर जनता पार्टी में शामिल हो गए। वह जालंधर में जनता पार्टी की सभा को सम्बोधित करने के लिए आए तो मैंने उनसे मुलाक़ात की थी। उनके द्वारा पार्टी छोड़ने पर जब मैंने सवाल किया तो उनका जवाब आज तक मुझे याद है, “यह राजनीति है धर्म नीति नहीं, बेटा”। बाबू जगजीवन राम के पास तो फिर औचित्य था कि वह इंदिरा गांधी की तानाशाही का विरोध करने के लिए जनता पार्टी में शामिल हुए है। उस समय तो बहुत कम लोग दलबदल करते थे पर आजकल की हमारी राजनीति तो भारत की आज़ादी से पहले […]

मोदी का मुक़ाबला नहीं, भाजपा का है , Modi is Invincible: Not So BJP

December 15, 2022 Chander Mohan 0

दिल्ली एमसीडी, गुजरात और हिमाचल प्रदेश के चुनाव परिणाम बतातें हैं कि 1. मोदी का मुक़ाबला नहीं पर भाजपा का है। मोदी ब्रांड सबसे बढ़िया अपने गृह प्रदेश में चलता है बाक़ी जगह चुनौती मिल सकती है। 2. आप राष्ट्रीय पार्टी बन सकती है पर राष्ट्रीय विकल्प अभी नही है। 3. अभी भी कांग्रेस ही विकल्प लगती है पर हिमाचल प्रदेश की जीत स्थानीय नेताओं के बल पर है। उन्होंने चुनाव स्थानीय मुद्दों पर केन्द्रित रखा। चाहे प्रियंका गांधी को ज़बरदस्ती श्रेय देने की कोशिश हो रही है पर हिमाचल कांग्रेस  का संदेश है कि वह गांधी परिवार के बिना भी जीत सकती है। जिस  दिल्ली में शीला दीक्षित ने 15 साल बढ़िया शासन दिया था वहां से कांग्रेस का […]

दिल्ली का शर्मनाक पतन (The Shameful Fall of Delhi)

November 8, 2016 Chander Mohan 0

जस वक्त दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एक पूर्व सैनिक की आत्महत्या को भुनाने में लगे हुए थे दिल्ली में प्रदूषण खतरनाक स्तर से बहुत पार कर गया था। यह पिछले 17 साल में सबसे खतरनाक स्तर पर है। सारा एनसीआर क्षेत्र ही जहरीली चादर से ढका प्रतीत होता है। लोगों का दम घुट रहा है। सुरक्षित से 12 गुणा खतरनाक स्तर तक प्रदूषण है। पहले कहा जा रहा था कि दिल्ली में सांस लेने वालों के अंदर रोजाना 20 सिगरेट के बराबर विषैला धुआं जा रहा है, अब बताया जा रहा है कि यह 40 सिगरेट के बराबर है। हवा इतनी जहरीली बन चुकी है कि घरों के अंदर भी कइयों को सांस लेने में तकलीफ हो रही है। […]