मानवता शर्मसार हुई
मानवता शर्मसार हुई वह 14 महीने की थी। अभी वह अपनी बेरोजगार मां का दूध ही पी रही थी कि सरकारी क्रूरता के कारण उसकी मौत हो गई। डॉक्टर कहते हैं कि वह कुपोषण से मारी गई। अगर यह भी सही है तो भी शर्म की बात है कि आज के पंजाब में एक बच्ची कुपोषण की शिकार हो गई। लेकिन नहीं, वह कुपोषण से नहीं मारी गई। वह सरकारी क्रूरता के कारण मारी गई। 2009 से बेरोजगार चल रही उसकी मां बाकी ईजीएस अध्यापकों के साथ बठिंडा की एक टंकी पर प्रदर्शन कर रही थी। मां की मजबूरी थी कि वह बेरोजगार थी और मजबूरी थी कि दूध पीती बच्ची को वह घर नहीं छोड़ सकती थी इसलिए इन […]