
‘शीश महल’ का रहने वाला, The Occupant of Sheesh Mahal
हो जाता है जिन पे अन्दाज़-ए-खुदाई पैदा हमने देखा है वह बुत्त तोड़ दिए जातें हैं अरविंद केजरीवाल का राजनीतिक सफ़र वैगन- आर और मफ़लर से शुरू हुआ और अंत शराब घोटाले के आरोपो और ‘शीश महल’ के कारण हुआ। उनकी शुरूआत अन्ना हज़ारे के ‘इंडिया एगेंस्ट करप्शन’ आंदोलन से हुई और अंत करप्शन के आरोपो के कारण भी हुआ। समझा गया कि वह वैकल्पिक राजनीतिक दिशा दिखाएँगे पर अंत में स्पष्ट हो गया कि अरविंद केजरीवाल कुछ अलग नहीं, वहीं कमज़ोरियाँ है जो आम राजनेता में होती है। मिडिल क्लास विशेष तौर पर उनके सादे जीवन से बहुत प्रभावित थी कि वह देश की राजनीति में शुद्धता लाएँगे। दिल्ली की जनता ने भी बहुत समर्थन दिया। 70 सदस्यों […]