संसद पर हमला, अब और तब,Attack On Parliament: Now, And Then

December 21, 2023 Chander Mohan 0

यह एक इमारत ज़रूर है पर उससे भी महत्वपूर्ण  यह हमारे लोकतंत्र का मंदिर है, उसका प्रतीक है।  इसकी पवित्रता पर आँच नहीं आनी चाहिए क्योंकि संसद है तो लोकतंत्र है। लेकिन इसी भवन में 13 दिसम्बर को दो नौजवान दर्शक गैलरी से लोकसभा के सदन के बीच कूद पड़े और पकडे जाने से पहले अंदर धुऐं के कनस्तर से पीला धुआँ फैलाने में सफल रहे। दो और साथी बाहर पकड़े गए। यह धुआँ हानिकारक नहीं था पर अगर उनके पास इसकी जगह बारूद होता तो क्या होता? उस दिन संसद ने 22 वर्ष  पहले हुए हमले में संसद की रक्षा करते मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित की थी। और इसी दिन ही खालिस्तानी आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने […]