मोदी का दाव और इमरान की बेबसी (Aggressive Modi and Helpless Imran)

August 15, 2019 Chander Mohan 0

पाकिस्तान की संसद में भारत द्वारा धारा 370 रद्द किए जाने को लेकर तीखी बहस हो रही थी। विपक्ष प्रधानमंत्री इमरान खान पर ताबड़तोड़ हमला कर रहा था कि उन्होंने एक बार कहा था कि  “शायद अगर भाजपा जो एक दक्षिणपंथी पार्टी है, जीत जाती है तो कश्मीर का समाधान निकल जाए”  लेकिन यहां तो नरेन्द्र मोदी ने नक्शा ही बदल डाला। इमरान खान बेबस हैं। एक बार अपनी संसद में झल्ला कर उन्होंने विपक्ष से यह सवाल जरुर कर दिया कि  “आप क्या चाहते हैं कि मैं क्या करुं? भारत पर हमला कर दूं?” यह नहीं कि इमरान खान ने खुद जंग की धमकी नहीं दी। वह संसद में कह चुके हैं कि अगर युद्ध होता है तो यह […]

भाजपा और उसका विपक्ष (BJP and It’s Opposition)

July 11, 2019 Chander Mohan 0

कांग्रेस पार्टी का संकट गहरा होता जा रहा है। डूबते जहाज़ को छोड़ कर कप्तान एक तरफ बैठ गए हैं। एक महीने की जद्दोजहद के बाद भी अभी तक पार्टी की कार्यकारिणी यह फैसला नहीं कर सकी कि नया कप्तान कौन होगा? पर सब देख रहें हैं कि जहाज़ में लगातार पानी भर रहा है। नया अध्यक्ष वह कार्यकारिणी चुनेगी जिसके सदस्य खुद चुन कर नहीं आए और वह अपनी जगह पर केवल इसलिए है क्योंकि वह परिवार के वफादार हैं। कई तो पंचायत का चुनाव जीतने की भी हैसियत नहीं रखते। वह तो ऐसा अध्यक्ष चुन ही नहीं सकते जिसे गांधी परिवार पसंद न करता हो। राहुल गांधी अपने इस्तीफे पर अड़े हुए हैं इससे उनकी प्रतिष्ठा बढ़ी है […]

पंजाब क्यों अपवाद रहा (Why was Punjab an Exception)

June 20, 2019 Chander Mohan 0

उत्तर, पूर्व और पश्चिम में विजयी नरेन्द्र मोदी का बेड़ा पंजाब में आकर रुक गया। पंजाब की 13 सीटों में से कांग्रेस 8 जीतने में सफल रही जबकि अकाली-भाजपा को 4 सीटें तथा आप भगवंत मान की एकमात्र सीट पर सफल रही। आंकड़े सारी कहानी कहते हैं। मोदी लहर के बीच भी पंजाब में कांग्रेस का मत प्रतिशत 1.62 प्रतिशत बढ़ गया। 2014 के चुनाव में कांग्रेस को 33.19 प्रतिशत वोट मिला था। 2017 के विधानसभा चुनाव में 38.50 प्रतिशत और इस बार 40.12 प्रतिशत चाहे इस बार शहरी हिन्दू का झुकाव भाजपा की तरफ अधिक था और दोआबा का दलित बसपा की तरफ झुक गया था। अगर पिछले लोकसभा चुनाव से तुलना की जाए तो कांग्रेस को लगभग 7 […]

संघ: निरंतरता और परिवर्तन ( RSS: Continuity and Change)

November 1, 2018 Chander Mohan 0

राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत की तीन दिन की व्याख्यान श्रृंखला के प्रति देश में असामान्य दिलचस्पी है। इससे पहले वह पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को मुख्य अतिथि के तौर पर बुला चुके हैं। क्या बदलते समय को देखते हुए संघ भी बदल रहा है? आखिर आज की जीन्स डाले और हाथ में मोबाईल पकडऩे वाली पीढ़ी की जरूरत को देखते हुए संघ ने निक्कर की जगह पैंट शुरू कर ही दी है। पर क्या अब वैचारिक बदलाव के भी संकेत मिल रहें है? क्या आज के भारत की जरूरत को देखते हुए संघ अधिक उदार तथा दूसरों को साथ लेकर चलने वाली संस्था बन रही है? राम माधव का मानना है कि वास्तव में संघ बदल […]

ए सैक्यूलरवाद, तेरे नाम पर क्या क्या अपराध किए जाते हैं! (Secularism, What Crimes are Committed in Thy Name)

July 13, 2017 Chander Mohan 0

किस्सा फ्रांस की क्रांति से जुड़ा है। 1789 में जब यह शुरू हुई तो मैडम रोलांड तथा उनके पति क्रांतिकारियों के प्रमुख तथा प्रभावशाली सदस्य थे लेकिन बाद में एक उग्रवादी गुट हावी हो गया। हजारों को कैद कर लिया गया और हजारों को ही मौत के घाट उतार दिया गया। मैडम रोलांड को पर्याप्त क्रांतिकारी नहीं समझा गया और 8 नवम्बर 1793 को उन्हें सर काटने की मशीन गिलोटीन पर भेज दिया गया। जब मैडम रोलांड को ले जाया जा रहा था तो रास्ते में पेरिस के क्रांतिकारी चौराहे पर आजादी की मूर्ति लगी हुई थी। उसकी तरफ उदासी से देखते हुए मैडम रोलांड ने यह शब्द कहे जो आज तक याद किए जाते हैं, O LIBERTY WHAT  CRIMES ARE […]

उड़ता सिद्धू (Udta Sidhu)

July 26, 2016 Chander Mohan 1

    दो महीने पहले भाजपा को अपनी मां कहने के बाद नवजोत सिंह सिद्धू पार्टी को छोड़ गए हैं। कसमें खाने के बाद लोग मुकर जाते हैं। राजनीतिक मजबूरी में भी लोग बदल जाते हैं यह बात तो समझ अाती है लेकिन यह नहीं समझ अाता कि तीन महीने पहले सिद्धू ने राज्यसभा का मनोनयन क्यों स्वीकार किया था अगर उन्होंने इसे छोड़ना ही था? यह उन लोगों से विश्वासघात है जिन्होंने उसे इस काबिल समझा और खुद महामहिम राष्ट्रपति के पद का अनादर है जिन्होंने उनका मनोनयन किया। यह तो साफ है कि उन्होंने अकाली-भाजपा के साथ अपने सारे पुल साढ़ लिए हैं। उनकी पत्नी कह चुकी हैं कि लालबत्ती वाली गाडि़यों में ड्रग्स जाते हैं। खुद सिद्धू […]